Uttar Pradesh
Dr. Syama Prasad Mookerjee के बलिदानदिवसपरLucknow मेंTribute Ceremony आयोजित

देश के महान विचारक और भारतीय जनसंघ के संस्थापक डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी के बलिदान दिवस के मौके पर लखनऊ में श्रद्धांजलि कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस अवसर पर भाजपा नेताओं, कार्यकर्ताओं और आम लोगों ने उनकी प्रतिमा पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी।
कार्यक्रम का आयोजन शहर के प्रमुख स्थल पर किया गया, जहां डॉ. मुखर्जी की मूर्ति स्थित है। इस मौके पर बड़ी संख्या में लोग एकत्र हुए और ‘एक भारत-श्रेष्ठ भारत’ के संकल्प को दोहराया।
डॉ. मुखर्जी को याद करते हुए नेताओं ने कहा कि उन्होंने देश की एकता और अखंडता के लिए अपना जीवन बलिदान कर दिया। वह पहले व्यक्ति थे जिन्होंने जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 का विरोध किया और ‘एक देश, एक संविधान’ की बात कही। उसी आंदोलन के दौरान 1953 में उनकी गिरफ्तारी हुई और रहस्यमयी हालात में उनका निधन हो गया।
कार्यक्रम में शामिल भाजपा नेताओं ने कहा,
“डॉ. मुखर्जी का बलिदान हमें यह सिखाता है कि देश की एकता सबसे ऊपर है। उन्होंने बिना किसी स्वार्थ के राष्ट्र के लिए काम किया। आज जो जम्मू–कश्मीर पूरी तरह भारत में शामिल है, वह उनके संघर्ष का ही नतीजा है।“
श्रद्धांजलि देने वालों में उत्तर प्रदेश के भाजपा पदाधिकारी, मंत्रीगण, सांसद, विधायक, युवा मोर्चा और महिला मोर्चा के सदस्य भी मौजूद रहे। उन्होंने डॉ. मुखर्जी के जीवन से प्रेरणा लेने की बात कही और देश के लिए ईमानदारी से काम करने का संकल्प लिया।
डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी को भारत में एक नई राजनीतिक सोच की शुरुआत करने वाला माना जाता है। उन्होंने भारतीय जनसंघ की स्थापना की, जो आज भारतीय जनता पार्टी (BJP) के रूप में जानी जाती है।
इस मौके पर लोगों ने सोशल मीडिया पर भी श्रद्धांजलि दी और #ShyamaPrasadMukherjee, #EkBharatShreshthaBharat जैसे हैशटैग के साथ पोस्ट शेयर किए।
डॉ. मुखर्जी का जीवन और उनका बलिदान आज भी देश को एकता और निष्ठा की प्रेरणा देता है। उनका सपना था कि भारत एकजुट हो, शक्तिशाली हो और हर नागरिक गर्व से कह सके – “मैं भारतवासी हूँ और यह मेरा एकमात्र राष्ट्र है।” आज उनके दिखाए मार्ग पर चलना ही सच्ची श्रद्धांजलि है।