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Delhi में Dengue-Malaria का कहर, AAP-BJP में ठनी – लोग बोले, “Blame Game बंद करो, Bring Solutions”

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दिल्ली में डेंगू और मलेरिया के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं, और इसके साथ ही सियासी संग्राम भी छिड़ गया है। आम आदमी पार्टी (AAP) और बीजेपी-शासित नगर निगम (MCD) एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगा रहे हैं। वहीं, हेल्थ एक्सपर्ट्स चेतावनी दे रहे हैं कि अगर तुरंत ठोस कदम नहीं उठाए गए, तो हालात और बिगड़ सकते हैं।

दिल्ली में अब तक आंकड़े क्या कहते हैं?
सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, इस मानसून सीज़न में दिल्ली में अब तक 277 डेंगू के केस, 124 मलेरिया के केस और 18 चिकनगुनिया के केस सामने आ चुके हैं। मलेरिया के मामलों ने पिछले 10 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है, जिससे चिंता और बढ़ गई है।

AAP का वार – “10 साल का रिकॉर्ड टूटा, BJP जिम्मेदार

AAP नेता सौरभ भारद्वाज ने शुक्रवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बीजेपी और MCD पर सीधा हमला बोला।
उन्होंने कहा, मलेरिया के केसों ने 10 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। ये सिर्फ एक आंकड़ा नहीं है, बल्कि ये दिखाता है कि शहर का मैनेजमेंट कितना खराब है।”

भारद्वाज ने कनॉट प्लेस, सदर बाजार और जनपथ जैसी जगहों पर जलभराव की घटनाओं का जिक्र करते हुए कहा,
“BJP मंत्री बार-बार कहते हैं कि पानी भरने की समस्या नहीं है, लेकिन बढ़ते मलेरिया के आंकड़े कुछ और ही कहानी बता रहे हैं।”

AAP ने ये भी घोषणा की है कि 4 अगस्त को विधानसभा सत्र में ये मुद्दा जोर-शोर से उठाया जाएगा।

मेयर का पलटवार – “AAP ने भी कुछ नहीं किया

दिल्ली के मेयर सरदार राजा इकबाल सिंह ने MCD की ओर से सफाई देते हुए कहा कि निगम लगातार काम कर रहा है और AAP सिर्फ राजनीति कर रही है।

उन्होंने पलटवार करते हुए कहा,
“AAP ने भी ढाई साल MCD चलाई थी। क्या तब मच्छरों का खात्मा कर दिया था? उस वक्त तो उन्होंने डेंगू-मलेरिया के पूरे आंकड़े तक जारी नहीं किए थे।”

मेयर ने बताया कि MCD ने अब तक 49,718 जगहों पर स्प्रे किया है, 8.2 लाख घरों का निरीक्षण किया है और 5,600 से ज्यादा नोटिस मच्छर पैदा करने वाली लापरवाहियों पर जारी किए गए हैं।
उनके मुताबिक, हम वार फुटिंग पर काम कर रहे हैं। AAP के आरोप सिर्फ एक राजनीतिक ड्रामा हैं, असलियत ये है कि वो खुद स्वास्थ्य बैठकों में सक्रिय नहीं हैं।”

पब्लिक की आवाज – “हमारे लिए सफाई और इलाज जरूरी, राजनीति नहीं

जहां एक तरफ दोनों पार्टियां blame game में लगी हैं, वहीं दिल्ली के लोग परेशान हैं।

पश्चिमी दिल्ली की एक निवासी ने कहा,
हमें रोज़-रोज़ का झगड़ा नहीं सुनना, हमें साफ सड़कें चाहिएं, नियमित स्प्रे होना चाहिए और मोहल्लों में हेल्थ कैंप लगने चाहिएं।”

अब आगे क्या?

डेंगू और मलेरिया जैसी बीमारियों के मामलों में बढ़ोतरी ने साफ कर दिया है कि ग्राउंड पर और ज्यादा काम करने की जरूरत है।

  • नियमित सफाई,
  • जलभराव रोकने की तैयारी,
  • सोसायटी और कॉलोनियों में हेल्थ कैंप,
  • और समय पर दवा का छिड़काव – यही वो कदम हैं, जिनसे हालात सुधर सकते हैं।

फिलहाल दिल्ली में ये जंग सिर्फ बीमारियों से नहीं, बल्कि राजनीति और सिस्टम की सुस्ती से भी है।

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