Haryana
Haryana में ट्रक और कार के बीच हुई भीषण टक्कर, 4 दोस्तों की मौके पर हुई मौत
Haryana के पानीपत नामक स्थान पर शुक्रवार रात एक बड़े ट्रक ने एक कार को टक्कर मार दी। दुखद बात यह रही कि कार में सवार चार लोगों की जान चली गई और एक युवक बुरी तरह घायल हो गया।
सोनीपत के कुछ युवक दुखद रूप से दुर्घटना में घायल हो गए और उनकी मौत हो गई। इनमें दो चचेरे भाई भी शामिल थे। उनके शव अस्पताल में हैं और पुलिस मामले की जांच कर रही है। घायल हुए उनके एक दोस्त को निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है और वह बहुत बीमार है।
रोहित, नितिन, अक्षय और राहुल नाम के चार लोगों की दुखद रूप से मौत हो गई और सौरव नाम का एक व्यक्ति घायल हो गया। मृतकों के परिजनों को शनिवार सुबह करीब 5 बजे दुर्घटना के बारे में पता चला। वे करीब एक घंटे बाद यानी 6 बजे अस्पताल पहुंचे।
एक परिवार ने बताया कि रोहित, नितिन, अक्षय, राहुल और सौरव नाम के पांच दोस्त शुक्रवार रात को कार से पानीपत जाने के लिए सोनीपत स्थित अपने घर से निकले थे। वे एक ट्रैवल कंपनी में साथ काम करते थे और अपनी नौकरी का पैसा लेने के लिए पानीपत जा रहे थे।
एक दिन पानीपत में एक ऊंचे पुल पर गाड़ी चलाते समय एक बड़े ट्रक ने उनकी कार को टक्कर मार दी। इससे कार अनियंत्रित हो गई और पुल पर लगे बैरियर और खंभे से जा टकराई। दुर्भाग्य से, दुर्घटना के दौरान कार में आग लग गई। इस भयानक घटना में कुंडली के रोहित, नितिन, अक्षय और जटी गांव के राहुल सभी की जान चली गई। जटी गांव के सौरव को गंभीर चोटें आईं। रोहित और नितिन चचेरे भाई थे।
प्रदीप ने बताया कि हम कुछ पैसे लेने के लिए सोनीपत से पानीपत गए थे। हमारी कार आगे थी और ड्राइवर शीशे में देख रहा था कि दूसरी कार हमसे कितनी दूर है। जब हमें काफी देर तक दूसरी कार नहीं दिखी तो हमें चिंता होने लगी। इसलिए, हमने गाड़ी घुमाई और तीन या चार फुटबॉल मैदानों की लंबाई के बराबर दूरी तय करके वापस चले गए। जब हम वहां पहुंचे तो हमने पाया कि दूसरी कार दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी और उसमें आग लग गई थी। हमने आग बुझाने में मदद की और फिर कार की खिड़की तोड़कर अंदर घायल हुए लोगों को बचाया।
जब एंबुलेंस आनी चाहिए थी तब वह वहां नहीं पहुंची। कार में सवार लोग फंस गए थे और उन्हें मदद की ज़रूरत थी। कुछ देर बाद उन्हें अस्पताल ले जाया गया। दुख की बात यह है कि घायल हुए एक व्यक्ति की अस्पताल ले जाते समय मौत हो गई, जबकि तीन अन्य की उससे पहले ही मौत हो चुकी थी।
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हरियाणा में बढ़ रहे Dengu के मरीज़, पांच डेंगू मरीजों को चढ़ाई गई है एसडीपी
सोमवार को इलाके में आठ नए लोग Dengu से बीमार हुए, जो एक तरह की बीमारी है। अब कुल 243 लोग बीमार हैं। चूँकि ज़्यादा लोग Denguसे पीड़ित हो रहे हैं, इसलिए उन्हें बेहतर महसूस करने में मदद करने के लिए प्लेटलेट्स नामक विशेष रक्तदान की ज़्यादा ज़रूरत है।
सिविल अस्पताल के ब्लड बैंक के प्रभारी लोगों ने देखा है कि ज़्यादा से ज़्यादा रोगियों को मदद की ज़रूरत है, इसलिए उन्होंने SDP नामक चीज़ बनाने के लिए विशेष किट मंगवाई। SDP डेंगू बुखार से पीड़ित रोगियों में प्लेटलेट्स नामक छोटी कोशिकाओं की संख्या बढ़ाने में मदद करता है। ये प्लेटलेट्स शरीर को ठीक करने में मदद करते हैं। हाल ही में, अस्पताल में पाँच रोगियों को बेहतर महसूस करने में मदद करने के लिए SDP दिया गया।
सोमवार को कुछ नए लोग Dengu से बीमार हुए। इनमें शिव नगर की 15 वर्षीय लड़की, चौधरीवास का 31 वर्षीय व्यक्ति, इंदिरा कॉलोनी की 39 वर्षीय महिला, महावीर कॉलोनी की 20 वर्षीय लड़की, विश्वकर्मा कॉलोनी की 24 वर्षीय लड़की, आजाद नगर का 42 वर्षीय व्यक्ति, सेक्टर-15 का 75 वर्षीय व्यक्ति और सेक्टर 16-17 का 39 वर्षीय व्यक्ति शामिल हैं।
शहर में एसडीपी और आरडीपी टेस्ट की जरूरत बढ़ती जा रही है, इसलिए निजी लैब इसकी तैयारी कर रही हैं। बड़े अस्पताल और लैब यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि उनके पास पर्याप्त एसडीपी किट हों। उदाहरण के लिए, नलवा लैब के पास 40 किट हैं और मंगलम लैब के पास 50 से अधिक किट हैं। शहर की अन्य लैब भी 10 से 20 किट तैयार कर रही हैं।
Dengu को रोकने के लिए, चिकित्सक डॉ. सपना गहलावत का कहना है कि हमें छोटे मच्छरों से छुटकारा पाने के लिए तेजी से काम करने की जरूरत है और मदद के लिए विशेष फॉग स्प्रे करना होगा। स्वास्थ्य विभाग भी छोटे मच्छरों को मारने के काम में मदद कर रहा है और शहर के कर्मचारी भी छिड़काव के काम में शामिल हो रहे हैं।
इसके अलावा, लोग एक और महत्वपूर्ण बात सीख रहे हैं। शहर के लिए काम करने वाले लोग अपने वाहनों में लाउडस्पीकर लगाकर लोगों को याद दिला रहे हैं कि वे अपने घरों के आसपास या छतों पर पानी जमा न होने दें।
हिसार के डॉक्टर डॉ. सुभाष खटरेजा ने बताया कि उनकी टीम मच्छरों को पनपने से रोकने के लिए कड़ी मेहनत कर रही है। वे उन जगहों पर खास स्प्रे और दवाइयों का इस्तेमाल कर रहे हैं, जहां पानी इकट्ठा होता है, ताकि छोटे मच्छर, जिन्हें लार्वा कहा जाता है, वहां न रह सकें। इससे सभी को डेंगू बुखार से बचने में मदद मिलती है।
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Panipat में पानी में डूबने से 2 लोगों की हुई मौत, यमुना किनारे 20 लोग गए थे नहाने
Panipat के पांच युवक यमुना नदी में तैरने गए थे, लेकिन पानी बहुत तेज था और वे बह गए। सौभाग्य से, उनमें से तीन को गोताखोरों ने बचा लिया, लेकिन दुख की बात है कि उनमें से दो की जान नहीं बच पाई। मरने वाले दो लोगों के शवों को खोजने और वापस लाने में करीब साढ़े पांच घंटे का समय लग गया। सोमवार को पानीपत शहर के हनुमान सभा नामक समूह के करीब 20 युवक तैरने के लिए यमुना नदी में गए थे। दोपहर करीब 12:30 बजे वे सभी पानी में उतर गए। किशोर की मदद के लिए लोग पानी में कूद पड़े। शहर में एक 12 वर्षीय अर्जुन नाम का लड़का था जो गहरे पानी में डूबने लगा। साहिल नाम का एक युवक, जो 21 साल का था, ने अर्जुन को मुसीबत में देखा और उसकी मदद के लिए पानी में कूद गया। दुख की बात है कि अर्जुन और साहिल दोनों डूब गए। जब अर्जुन और साहिल मुसीबत में थे और पानी में डूब रहे थे, तो उनके दोस्त सुरेश, बलवान और महेश उनकी मदद के लिए पानी में कूद पड़े। लेकिन उन्हें बचाने की कोशिश में वे सभी पांचों यमुना नदी की तेज धारा में फंस गए और बह गए।
जबकि लड़के के दोस्त पानी में फंसने के कारण मदद के लिए चिल्ला रहे थे, उत्तर प्रदेश के रहने वाले साजिद, दिलशाद, बिल्लू और नौशाद नाम के चार बहादुर गोताखोर उसे बचाने के लिए यमुना नदी में कूद पड़े।
अर्जुन और साहिल की मदद नहीं की जा सकी।
गोताखोरों ने कड़ी मेहनत की और सुरेश, बलवान और महेश को सुरक्षित बाहर निकालने में सफल रहे। लेकिन वे अर्जुन और साहिल को नहीं बचा पाए। उन्हें पानी में केवल उनके शव मिले।
उत्तर प्रदेश और हरियाणा की पुलिस डूबे हुए दो लोगों की तलाश में मदद करने आई। उन्होंने करीब साढ़े पांच घंटे तक तलाश की और दोनों को ढूंढ निकाला।
पानीपत सिंचाई विभाग के राजकुमार सहित गोताखोरों के एक समूह को मदद के लिए बुलाया गया। उन्होंने उत्तर प्रदेश के गोताखोरों के साथ मिलकर यमुना नदी में तलाश की। करीब साढ़े पांच घंटे की तलाश के बाद उन्हें नदी में साहिल और अर्जुन नाम के दो लड़कों के शव मिले।
महत्वपूर्ण बातें
जब आप गहरे पानी में हों तो सावधान रहें क्योंकि यह जोखिम भरा हो सकता है, खासकर अगर आप तैर नहीं सकते या आपको नहीं पता कि पानी कितना गहरा है। पानी में मौज-मस्ती करते समय सुरक्षित रहने में आपकी मदद करने के लिए यहाँ कुछ सुझाव दिए गए हैं!
पानी में कूदने से पहले सुनिश्चित करें कि आपको पता है कि पानी कितना गहरा है।
तैरना सीखें और पानी में होने पर सुरक्षित कैसे रहें।
अकेले गहरे पानी में न जाएँ।
पानी में जाने से पहले अपने परिवार या दोस्तों को बताएँ।
- पानी में सुरक्षित रहने के लिए बचाव उपकरण का उपयोग करें।
तैरने से पहले सुनिश्चित करें कि आपका शरीर अच्छा और मज़बूत महसूस कर रहा है।
पानी में ऐसी जगहों से दूर रहें जो बहुत तेज़ या बहुत गहरी हो सकती हैं, क्योंकि वे बहुत जोखिम भरी हो सकती हैं।
Haryana
Haryana चुनाव को लेकर सुप्रीम कोर्ट मेंदायर की गई याचिका, 20 सीटों पर फिर होंगे चुनाव?
Haryana में कुछ लोग 20 महत्वपूर्ण स्थानों पर नए चुनाव करवाना चाहते हैं, जिन्हें विधानसभा सीटें कहा जाता है। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से, जो भारत की एक बड़ी अदालत है, यह अनुरोध किया है कि वह चुनाव आयोग (चुनावों को संचालित करने वाला समूह) को बताए कि क्या करना है। उनका मानना है कि मतदान के लिए इस्तेमाल की जाने वाली मशीनें सही तरीके से काम नहीं कर रही थीं और चुनाव के नतीजे अजीब लग रहे थे।
देश की सबसे बड़ी अदालत से अनुरोध किया गया।
प्रिया मिश्रा और विकास बंसल ने सुप्रीम कोर्ट नामक न्यायाधीशों के एक बहुत ही महत्वपूर्ण समूह से मदद मांगी। उन्होंने नरेंद्र मिश्रा नामक एक वकील की मदद से ऐसा किया। उन्होंने कहा कि चुनाव के प्रभारी समूह, जिसे चुनाव आयोग कहा जाता है, ने कहा कि वोटों की गिनती के लिए इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) नामक विशेष मशीनों का उपयोग करना ठीक है क्योंकि वे बहुत सटीक हैं।
याचिका में कहा गया है कि कुछ वोटिंग मशीनों में बहुत अधिक बैटरी पावर थी, लगभग पूरी तरह से भरी हुई, जबकि अन्य में कम पावर थी, जैसे कि केवल 60 या 70 प्रतिशत भरी हुई। कुछ में तो इससे भी कम, 80 प्रतिशत से भी कम बैटरी बची हुई थी।
मदद मांगने वाले व्यक्ति ने बताया कि कांग्रेस पार्टी ने भारत के चुनाव आयोग को एक रिपोर्ट दिखाई।
याचिका में कहा गया है कि कुछ जगहों पर वोटों की गिनती करने वाली मशीनों ने अलग-अलग नतीजे दिखाए, जबकि वे एक ही मतदान क्षेत्र में थीं। जब भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के उम्मीदवारों को इस बारे में पता चला, तो उन्होंने चुनाव के प्रभारी लोगों को बताया। लेकिन कई जगहों पर किसी ने इस बारे में कुछ नहीं किया और उन्होंने कहा कि यह चुनाव चलाने का एक बेईमानी भरा तरीका है।
याचिका में कहा गया है कि कुछ वोटिंग मशीनों की बैटरी लगभग पूरी तरह से चार्ज हो चुकी थी, जबकि अन्य में थोड़ी कम, लेकिन फिर भी बहुत ज़्यादा बैटरी थी। यह उस दिन की तुलना में बहुत ज़्यादा थी, जब नतीजे आने वाले दिन उन्हें चार्ज किया गया था।
जिस व्यक्ति ने यह अनुरोध किया है, वह चाहता है कि भारत का चुनाव आयोग वोटों की गिनती के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी साझा करे। वे वोटिंग मशीनों और चुनाव से जुड़े आधिकारिक कागजात के बारे में भी जानकारी सुरक्षित रखना चाहते हैं। उन्होंने यह अनुरोध इसलिए किया क्योंकि वे यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि चुनाव निष्पक्ष और ईमानदार हों और हर कोई नियमों का पालन करे।
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